यहां भगवान विष्णु ने लिया था मानव रूप मे अवतार और अपने नाखूनों से बनायी थी झील !!
यहां भगवान विष्णु ने लिया था मानव रूप मे अवतार और अपने नाखूनों से बनायी थी झील !!
कहा जाता है कि यहां पर एक अवतारी पुरुष ने जन्म लिया था, स्थानीय मान्यताओं में उस अवतार को भगवान विष्णु का अंश माना जाता है। यह मंदिर कलाकृति और शिल्प का बेजोड़ नमूना हैं। इसे देखने के लिए लाखों लोग दुनिया के अलग-अलग हिस्सों से आते हैं।
कहां है ये अद्भुत मंदिर-
माउंट आबू में बना ये मंदिर दिलवाड़ा के जैन मंदिर के नाम से जाना जाता है। यहां कुल पांच मंदिरों का समूह जरुर है लेकिन यहां के तीन मंदिर खास हैं। आपको बता दें दिलवाड़ा का ये मंदिर 48 खंभों पर टिका हुआ है। इसकी खूबसूरती और नक्काशी के कारण इसे राजस्थान का ताज महल भी कहा जाता है। इस मंदिर की एक-एक दीवार पर बेहग सुंदर कालाकारी और नक्काशी की गई है, जो अपना इतिहास बताती हैं। इस मंदिर से जुड़ी कई कहानियां और कई मान्यताएं हैं, जो अपने आप में अनोखी है।
इस मंदिर से जुड़ी है पौराणिक कथा कहती है कि भगवान विष्णु ने बालमरसिया के रूप में अवतार लिया । कहा जाता है कि भगवान विष्णु का ये अवतार गुजरात के पाटन में एक साधारण परिवार के घर में हुआ। विष्णु भगवान के जन्म के बाद ही पाटन के महाराजा उनके मंत्री वस्तुपाल और तेजपाल ने माउंट आबू में इस मंदिर के निमार्ण की इच्छा जागी। जब भगवान विष्णु के अवतार बालमरसिया ने महाराज के यह बात सुनी तो वो वस्तुपाल और तेजपाल के पास इस मंदिर की रुपरेखा लेकर पहुंच गए। तब वस्तुपाल ने कहा कि अगर ऐसा ही मंदिर तैयार हो गया तब वो अपनी पुत्री की शादी बालमरसिया से कर देंगे। भगवान विष्णु के अवतार बालमरसिया ने इस प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया और बेहद सुंदर मंदिर का निर्माण किया।

यहां विष्णु ने लिया था मनुष्य रूप में अवतार-
इस मंदिर से जुड़ी है पौराणिक कथा कहती है कि भगवान विष्णु ने बालमरसिया के रूप में अवतार लिया । कहा जाता है कि भगवान विष्णु का ये अवतार गुजरात के पाटन में एक साधारण परिवार के घर में हुआ। विष्णु भगवान के जन्म के बाद ही पाटन के महाराजा उनके मंत्री वस्तुपाल और तेजपाल ने माउंट आबू में इस मंदिर के निमार्ण की इच्छा जागी। जब भगवान विष्णु के अवतार बालमरसिया ने महाराज के यह बात सुनी तो वो वस्तुपाल और तेजपाल के पास इस मंदिर की रुपरेखा लेकर पहुंच गए। तब वस्तुपाल ने कहा कि अगर ऐसा ही मंदिर तैयार हो गया तब वो अपनी पुत्री की शादी बालमरसिया से कर देंगे। भगवान विष्णु के अवतार बालमरसिया ने इस प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया और बेहद सुंदर मंदिर का निर्माण किया।
नाखून से बना दी थी झील-
पौराणिक कथा के अनुसार, बालमरसिया की होने वाली दादीसास ने छल कर दिया और शादी करने के लिए एक और शर्त रख दी। उन्होंने शर्त रखी कि अगर एक रात में सूरज निकलने से पहले अपने नाखूनों से खुदाई कर मैदान को झील में तब्दील कर देंगे। तब वो अपनी पोती का हाथ बालमरसिया के हाथों में देंगी। यह सुन-कर उन्होंने एक घंटे में ही ऐसा करके दिखा दिया। फिर भी बालमरसिया की होने वाली दादीसास ने अपनी पोती का विवाह उनसे नहीं किया। बाद में इस बात को लेकर भगवान विष्णु कोध्रित हो उठे और उन्होंने अपनी होने वाली दादीसास का वध कर दिया।
Loading...
Related Posts
-
महादेव का निवास स्थान, जहा कलयुग मे जो गया वो वापस कभी नही आया…!!
No Comments | Feb 16, 2017 -
काल भैरव के मंत्र जो आपका जीवन बदल देंगे ..
1 Comment | Jan 7, 2017 -
नीम्बू काटकर रखे बैडरूम में – सुबह लाभ देखकर आँखें फटी रह जाएँगी !!
No Comments | May 21, 2017 -
आप भी जाने..!!जीते जी नर्क मिलता है इस तरह के कर्म करने वाले लोगों को..!!
No Comments | Jun 26, 2017